|Direct Benefit Transfer| डीबीटी (DBT) क्या है- What Is DBT Full Form Hindi Me

डीबीटी क्या है और इसकी फुल फॉर्म क्या होती है एवं DBT पोर्टल पर ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन कैसे करे व Direct Benefit Transfer के लाभ जाने

जैसे कि हम सभी लोग जानते हैं कि भारत सरकार द्वारा समय-समय पर जनता के लिए चाहे वो किसान हो या फिर बालिकाएं या फिर बेरोजगार युवा सभी के लिए बहुत सारी योजनाओं का संचालन किया जाता रहा है। इसी प्रकार सरकार द्वारा डीबीटी योजना का आरंभ किया गया है। डीबीटी योजना के चर्चा सबसे पहली बार वर्ष 2012 में तत्कालीन वित्त मंत्री प्रणब मुखर्जी द्वारा एक केंद्रीय बजट भाषण में की गई थी। सरकार द्वारा DBT योजना सरकारी Agriculture, Cooperation & Farmers Welfare Department की ओर से चलाई जाती हैं। तो चलिए फिर आज हम आपको अपने इसलिए के माध्यम से डीबीटी योजना से संबंधित सभी महत्वपूर्ण जानकारियां जैसे उद्देश्य लाभ विशेषताएं आवश्यक दस्तावेज एवं ऑनलाइन आवेदन प्रक्रिया आपको बताएंगे। राज्य के जो भी इच्छुक लाभार्थी इस योजना के अंतर्गत लाभ प्राप्त करना चाहते हैं तो हमारी इस पोस्ट को जरूर पढ़ें।

DBT Kya Hai

डीबीटी की फुलफॉर्म “Direct Benefit Transfer” होती है। हिंदी भाषा में इसे “प्रत्यक्ष लाभ हस्तांतरण” कहते हैं। डीपीटी के माध्यम से सरकार द्वारा केरोसिन, एलपीजी और उर्वरक के लिए नगद सब्सिडी का सीधे भुगतान लाभार्थी के बैंक अकाउंट में ट्रांसफर किया जाता हैं। इस योजना के माध्यम से जनकल्याण में उपयोग होने वाली रकम की चोरी पर रोक लगाने के साथ-साथ भ्रष्टाचार पर भी रोक लगेगी। इस योजना के माध्यम से सफलता प्राप्त करने के लिए सरकार द्वारा 28 करोड से भी ज्यादा जनधन खाते खुलवाए गए हैं ताकि लोगों को प्रदान की जाने वाली सब्सिडी की रकम सीधे उनके बैंक अकाउंट में ट्रांसफर की जाए जिससे कि वे जरूरत पड़ने पर उस रकम का इस्तेमाल कर सकें।

इसके अलावा सरकार द्वारा आधार संख्या को बैंक अकाउंट से लिंक करने पर भी विशेष ध्यान दिया गया है जिससे कि डीपीटी लागू करने में सहायता प्रदान होगी। देखा जाए तो 80 से भी अधिक 15 मंत्रालय की योजनाएं डीबीटी के अंतर्गत आती है।

DBT Kya Hai
DBT Kya Hai

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डीबीटी के तहत लाभार्थियों को किया गया करोड़ों का भुगतान

  • जैसे हम सभी लोग जानते हैं कि बीते वर्ष 24 मार्च 2020 से 17 अप्रैल 2020 तक लॉकडाउन के दौरान लोगों को बहुत सारी दिक्कत होगा सामना करना पड़ा उस समय लोगों को सहायता पहुंचाने के लिए डीबीटी ने एक आहम भूमिका निभाई।
  • डीबीटी के माध्यम से लगभग 16.01 करोड़ लाभार्थियों एवं जरूरतमंदों के बैंक अकाउंट में लगभग 36.659 करोड़ रुपए ट्रांसफर किए गए। प्रदान की जाने वाली यह रकम केंद्रीय योजनाओं केंद्र प्रायोजित योजनाओं के अलावा राज्य सरकार की योजनाओं के तहत प्रदान की गई है। जिसमें से केंद्र प्रायोजित योजनाओं और केंद्रीय योजनाओं के लिए 27442 और राज्य सरकार द्वारा 9717 करोड़ रुपए विभिन्न योजनाओं के तहत डीबीटी के माध्यम से बांटे गए।
  • मंत्रालय के ब्योरे के अनुसार केंद्र प्रायोजित और केंद्रीय योजनाओं से जुड़े लाभार्थियों की संख्या 11.42 करोड़ राज्यों के विभिन्न योजनाओं से जुड़े लाभार्थियों की संख्या 4.59 करोड़ रुपए है। वर्ष 2018 में डीपीटी के माध्यम से बांटी गई रकम केवल 22% थी लेकिन वर्ष 2020 में यह बढ़कर लगभग 45% तक हो गए हैं।

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डीबीटी के लाभ

  • सरकार द्वारा पहले जो भी सब्सिडी या आर्थिक सहायता के तौर पर मिलने वाली धनराशि या तो चेक के माध्यम से मिलती थी या फिर नगद भुगतान या फिर कभी कभी सेवाओं तथा वस्तुओं पर कीमत छूट के रूप में मिलती थी लेकिन डीबीटी में ऐसा बिल्कुल नहीं है।
  • क्योंकि डीबीटी द्वारा प्रदान की जाने वाली रकम सीधे लाभार्थी के बैंक अकाउंट में ट्रांसफर की जाती है।
  • डीबीटी का सबसे बड़ा वाला यह है कि लाभार्थी को बिना किसी बिचौलिया के जरूरत पड़े आसानी से सब्सिडी की पूरी रकम प्राप्त हो जाती है।
  • पहले जो भी सब्सिडी की रकम दिलाने में सहायता करता था उसे कमीशन देना पड़ता था लेकिन अब ऐसा नहीं होगा।
  • डीपीटी के माध्यम से जन कल्याण में उपयोग होने वाली रकम की चोरी पर रोक लग पाएगी।
  • सब्सिडी की रकम सीधे बैंक अकाउंट में ट्रांसफर होने से जरूरत पड़ने पर ही लाभार्थी उसे निकाल सकता है।
  • वही पैसे बैंक अकाउंट में ट्रांसफर होने का एक मुख्य लाभ यह भी है कि अगर पैसे डायरेक्ट हाथ में आते हैं तो लोग उसे तभी खर्च कर देते हैं लेकिन अब ऐसा नहीं होगा।

डीबीटी की विशेषताएं

  • केंद्र सरकार की डीबीटी पोर्टल योजना के माध्यम से किसानों को कृषि यन्त्र खरीदने में आर्थिक सहायता प्राप्त होगी, जिससे किसान अच्छे से खेती कर सकेंगे और देश के किसानों की आय भी दोगुनी होगी।
  • देश के किसान को कृषि यंत्र का लाभ प्रदान करने के लिए ही केंद्र सरकार द्वाराDBT कृषि यंत्र योजना संचालित की गई है।
  • डीबीटी के माध्यम से किसानों कि आर्थिक स्थिति में सुधार आएगा और महंगे यंत्र खरीदने के लिए उन्हें कर्ज लेने की आवश्यकता नहीं पड़ेगी।
  • पिछले 3 वर्षों में डीबीटी लागू होने के बाद लगभग 50,000 करोड़ रुपए से ज्यादा की बचत की गई है।
  • वर्ष 2013 और 14 में डीवीटी के माध्यम से 7367 करो रुपए का भुगतान किया गया था जिसका लाभ लगभग 10.71 करोड़ लोगों को प्रदान किया गया था।
  • वर्ष 2016 और 17 में लगभग 74502 करो रुपए का भुगतान किया गया जिसका लाभ लगभग 33 करोड से ज्यादा लोगों को प्रदान किया गया।
  • 17.50 एलपीजी उपभोक्ताओं को उनके बैंक अकाउंट में सीधे सब्सिडी का लाभ प्रदान किया जा रहा है जिसके बाद सिलेंडर की कालाबाजारी रोकने में सरकार को बहुत ज़्यादा प्रदान हुई है।
Eligibility Of DBT
  • डीबीटी का लाभ लेने के लिए किसान को भारत का स्थाई निवासी होना अनिवार्य है।
  • कृषि संबंधित यंत्र लेने के लिए ऑनलाइन आवेदन करना होगा।
  • बैंक अकाउंट पासबुक होना जरूरी है
  • कृषि यंत्र योजना का लाभ लेने के लिए आवेदक किसी दूसरी योजना के अंतर्गत लाभान्वित ना हो।
  • आधार कार्ड बैंक अकाउंट से लिंक हो।
डीबीटी का लाभ प्राप्त करने के लिए आवश्यक दस्तावेज
  • आधार कार्ड
  • पैन कार्ड
  • जाति प्रमाण पत्र
  • बैंक अकाउंट पासबुक
  • पासपोर्ट साइज फोटो

डीबीटी पोर्टल पर ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन करने कि प्रक्रिया

डीबीटी (DBT) क्या है-
Direct Benefit Transfer
  • उसके बाद आपके सामने एक होम पेज खुल कर आएगा।
  • इस पेज पर आपने ‘पंजीकरण’ के ऑप्शन पर क्लिक करना है।
  • उसके बाद आपको अब ‘नए पंजीकरण’ ऑप्शन पर क्लिक करना है।
  • अब आपको मांगे गए कुछ निर्देशों का पालन करते हुए आगे बढ़ना है।
  • सभी दिशा निर्देशों को अच्छे से दर्ज करने के बाद रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया पूरी करने के लिए सब्मिट के ऑप्शन पर क्लिक करे।

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