ANM Course Kya Hai और इसकी फुल फॉर्म क्या होती है एवं एएनएम कोर्स कैसे करें व कोर्स की फीस, शैक्षित योग्यता क्या है पूरी जानकारी हिंदी में
दोस्तों आज हम आपको एएनएम कोर्स के बारे में बताएंगे ANM Course क्या है और आप इसे कैसे कर सकते हैं यह होस्पिटल नर्सिंग से जुड़ा कोर्स है इसमें जनरल मेडिकल इनफार्मेशन के साथ डॉक्टर के सहायक का काम और मरीजों की देखभाल का काम सिखाया जाता है इस कोर्स को अधिकतर लड़कियां ही करती हैं क्योंकि लड़कियां गायनोलॉजिस्ट की मदद भी कर सकती हैं। इस कोर्स के द्वारा गांव की बेटियों को भविष्य और उज्ज्वल करने का नया सहारा मिला है लड़कियाँ इस कोर्स को करना भी पसंद करती हैं क्योंकि यह महिलाओं की सेवा करने का एक अवसर है इसे के बारे में हम आपको जरूरी जानकारी दे रहे हैं।
एएनएम कोर्स क्या है ?
दोस्तों एएनएम कोर्स के बारे में बताने से पहले हम यहां आपको एएनएम की फुल फॉर्म बता रहे हैं एएनएम की फुल फॉर्म ‘ऑग्ज़ीलियरी नर्स मिडवाइफरी’ है। एएनएम कोर्स मेडिकल चिकित्सा से संबंधित एक कोर्स है इस कोर्स को लड़के और लड़कियां दोनों कर सकते हैं लेकिन अधिकतर लड़कियां ही ANM Course क्या है को करती हैं इस कोर्स के माध्यम से छात्र छात्राओं को चिकित्सा से जुड़ी जानकारियों के अलावा ट्रेनिंग भी दी जाती है इसमें मरीजों को इंजेक्शन लगाना, दवा देना और उनके कपड़े आदि चेंज करने की ट्रेनिंग दी जाती है और इसके साथ ही साथ डॉक्टर की सहायता भी करने की ट्रेनिंग दी जाती है गांव व शहरों में बच्चों के टीका लगाने का कार्य भी करती हैं। होस्पिटल में मेडिकल उपकरणों के बारे में भी ट्रेनिंग दी जाती है। एएनएम कोर्स मेडिकल नर्सिंग डिप्लोमा कोर्स कहलाता है।
ANM का कोर्स कितने साल का होता है?
एएनएम का 2 साल का कोर्स होता है। जिसमें आपको दोनों साल में अलग-अलग सिलेबस पढ़ाए जाते है।
फर्स्ट ईयर सिलेबस
- Health Promotion
- Community Health Nursing
- Primary Health Care Nursing
- Child Health Nursing
सेकंड ईयर सिलेबस
- Midwifery
- Health Center Management
ANM Course के क्या कार्य होते हैं ?
यहां पर हम आपको एएनएम के कार्य बताएंगे जो निम्नलिखित हैं
- किसी भी हॉस्पिटल या नर्सिंग होम में मरीज के इलाज के दौरान डॉक्टर की सहायता करना।
- जो मरीज हॉस्पिटल में भर्ती होते हैं उनकी देखभाल करना।
- मरीज को कौन सी दवा कब देनी है या इंजेक्शन लगाना है इन सभी रिकार्डों को मेंटेन करना।
- मेडिकल उपकरणों की देखभाल और उसकी साफ-सफाई का ध्यान रखना।
- गांव व शहरों में राज्य सरकार या केंद्र सरकार की तरफ से बच्चों को पोलियो ड्रॉप और अन्य बीमारियों के वैक्सीन लगाना।
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एएनएम शैक्षिक योग्यता और आयु
इस कोर्स के लिए कोई खास शैक्षिक योग्यता की जरूरत नहीं होती है बस कम से कम हाई स्कूल में 55% मार्क्स आने जरूरी है और इस बात का ध्यान रखना है कि आपने 10th क्लास साइंस से करना है। इसके लिए आप की आयु कम से कम 17 वर्ष और ज्यादा ज्यादा 30 वर्ष होनी चाहिए।
ANM Course प्रवेश प्रक्रिया क्या है ?
एएनएम कोर्स प्रवेश के लिए आपका एक विशेष तौर पर इंटरव्यू लिया जाता है जिसमें आप के पाठ्यक्रम के हिसाब से सवाल पूछे जाते हैं और अलग-अलग मेडिकल कॉलेज में इसकी परीक्षा अलग-अलग तौर पर ली जाती है लेकिन इसकी परीक्षा के अलावा इंटरव्यू पर भी डिपेंड करता है एएनएम कोर्स 2 साल का होता है जिसमें दोनों साल का पाठ्यक्रम और परीक्षा अलग-अलग होती है।
एएनएम कोर्स की फीस कितनी होती है ?
ANM Course की फीस सरकारी कॉलेज में लगभग सालाना ₹10000 से लेकर ₹20000 तक हो सकती है और प्राइवेट कॉलेजेस में इसकी फीस ₹25000 से लेकर ₹40000 सालाना तक हो सकती है।
एएनएम कोर्स करने के बाद आप कहां-कहां जॉब के लिए अप्लाई कर सकते हैं ?
- ग्रामीण स्वास्थ्य केंद्र
- नर्सिंग होम
- क्लिनिक
- हॉस्पिटल
- गैर सरकारी संगठन
- एनजीओ
- वृद्धावस्था घर
- एजुकेशनल इंस्टीट्यूट
- मेडिकल कॉलेज
ANM Course करने के लिए मुख्य मेडिकल कॉलेज और यूनिवर्सिटीज
- आल इंडिया इंस्टिट्यूट ऑफ़ मेडिकल साइंसेज, दिल्ली
- आल इंडिया इंस्टिट्यूट ऑफ़ मेडिकल साइंसेज, भुवनेश्वर
- ऑल इंडिया इंस्टीट्यूट ऑफ हाइजीन एंड पब्लिक हेल्थ, कोलकाता
- क्रिस्चियन मेडिकल कॉलेज, वेल्लोर, तमिलनाडु
- सिंबोसिस इंटरनेशनल यूनिवर्सिटी
- जवाहरलाल इंस्टीट्यूट ऑफ पोस्ट ग्रेजुएट मेडिकल एजुकेशन एंड रिसर्च
- बरेली इंटरनेशनल यूनिवर्सिटी
- रुहेलखंड मेडिकल कॉलेज, बरेली
- विवेकानंद कॉलेज ऑफ नर्सिंग लखनऊ
- बोरा इंस्टीट्यूट ऑफ एलाइड हेल्थ साइंस
- एरा नर्सिंग कॉलेज, लखनऊ
- राजीव गांधी पैरामेडिकल इंस्टीट्यूट, दिल्ली
- अपोलो स्कूल ऑफ नर्सिंग, दिल्ली
- अहिल्याबाई कॉलेज ऑफ नर्सिंग, दिल्ली
ANM Course की मंथली सैलेरी कितनी होती है ?
यहां हम आपको एएनएम की सैलरी कितनी होती है यह बता रहे हैं एएनएम की सैलरी अलग-अलग हॉस्पिटल्स में अलग-अलग हो सकती है यह हॉस्पिटल के स्टेटस पर डिपेंड करता है मगर फिर भी शुरुआत में लगभग 10 से ₹15000 महीना तक आसानी से मिल जाते हैं। और अगर किसी सरकारी चिकित्सा विभाग में नौकरी मिल जाए तो और भी अच्छी बात है इसमें सैलरी बढ़ जाती है और बाद में पेंशन का प्रावधान भी है।