विधायक कैसे बनते है- योग्यता, वेतन, अधिकार व कार्यकाल, Vidhayak Kaise Bane

Vidhayak Kya Hota Hai और विधायक कैसे बनते है एवं इसका अधिकार व कार्यकाल क्या है व Monthly Salary And Allowance Of MLA

हैलो दोस्तों! आज हम आपको विधायक अर्थात एमएलए से जुड़ी सभी महत्वपूर्ण जानकारियां प्रदान करने वाले हैं। हम सभी लोगों में बहुत सारे लोग ऐसे हैं जो राजनीति में आकर अपना करियर बनाना चाहते हैं। लेकिन एमएलए बनना इतना आसान नहीं है, उसके लिए आपको बहुत सारी मेहनत और अपनी पढ़ाई को कंप्लीट करना पड़ता है। क्या आप लोग जानते हैं कि Vidhayak का मासिक वेतन, अधिकार एवं कार्यकाल कब से कब तक का होता है, अगर नहीं तो आज हम आपको ऐसे ही कुछ सवालों के जवाब अपने इस पोस्ट के माध्यम से प्रदान करने वाले हैं। यदि आप भी राजनीति में अपना करियर बनाना चाहते हैं तो हमारे इसलिए को अंतर जरूर पड़े क्योंकि इस फील्ड में आने के लिए आपको ज्ञान हासिल करना बहुत जरूरी है।

Vidhayak Kya Hota Hai?

विधायक को एमएलए भी कहा जाता है। और आपकी जानकारी के लिए हम आपको बताना चाहेंगे कि एमएलए की फुल फॉर्म “Member Of Legislative Assembly” होती है। विधायक के कंधों पर एक बहुत महत्वपूर्ण जिम्मेदारी होती है जिससे उसे इमानदारी से निभाना होता है। Vidhayak का मुख्य कार्य कानून की योजना बनाना उसे पढ़ना उस पर चर्चा करना और नए कानून के अधिनियम का सपोर्ट करना यह सभी कार्य विधायक द्वारा ही किए जाते हैं। जैसे कि आप सभी लोग जानते हैं कि राज्य की शासन व्यवस्था को सुचारू रूप से चलाने के लिए राज्यों में सरकार का गठन किया जाता है और सरकार विधानसभा और विधान परिषद के सदस्य से मिलकर बनती है। विधानसभा और विधान परिषद के इलेक्टेड और नॉमिनेटेड मेंबर्स को ही विधायक कहा जाता है।

Vidhayak Kaise Bane
Vidhayak Kaise Bane

Vidhayak Kaise Bane

क्या आप लोग जानते हैं कि विधान परिषद का गठन भारत के लगभग 7 राज्यों में अब तक हो चुका है। राज्य के प्रत्येक क्षेत्र में एक प्रतिनिधि के तौर पर एमएलए का चुनाव किया जाता है। क्षेत्रों की संख्या मतदाताओं की संख्या पर निर्भर रहती है। वोटर्स के वोट डालने के बाद ही विधायक का चुनाव किया जाता है। अपने क्षेत्र की समस्याएं सुनने के बाद उनकी समस्याओं का समाधान करने के लिए विधायकों को विधानसभा में उनकी समस्याओं को पेश करना पड़ता है और राज्य द्वारा लागू की गई सभी योजनाओं को जनता तक पहुंचाने का कार्य भी एमएलए द्वारा ही किया जाता है।

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Monthly Salary And Allowance Of MLA

  • अब हम आपको एमएलए की मासिक तनख्वाह एवं मिलने वाले भत्ते के बारे में बताएंगे।
  • एक Vidhayak को प्रति महीने लगभग 75 हजार रूपए वेतन के रूप में प्रदान किए जाते हैं।
  • इसके अलावा 24 हजार रुपए डीजल या पेट्रोल के खर्चे के लिए दिए जाते हैं।
  • 6 हजार रुपए PA खर्च के लिए दिए जाते हैं।
  • उसके अलावा किसी बीमारी का इलाज कराने के लिए 6000 रुपए और 6000 रुपए की रकम मोबाइल के रिचार्ज के लिए दी जाती है।
  • तो कुल मिलाकर लगभग 1 लाख 87 हजार रूपए प्रति महीने एक विधायक को प्रदान किए जाते हैं। जिसमें विधायक को रुकने के लिए सरकारी आवास खाने-पीने का खर्च आदि भी शामिल है।
  • एक विधायक को विधायक निधि के रूप में साल के अंदर लगभग साढे सात करोड़ रुपए की रकम दी जाती है।
  • एक एमएलए द्वारा रेलवे में अपने साथ एक परिजन को फ्री यात्रा कराने का अधिकार भी दिया जाता है।
  • पांच साल का समय पूरा होने के बाद लग्भग 30 हजार रूपए प्रतिमाह पेंशन मिलती है , वहीं आठ हजार रूपए डीजल खर्च के रूप में मिलते हैं।

विधायक के अधिकार

  • एक विधायक का सबसे महत्वपूर्ण कार्य उसके क्षेत्र के लोगों की समस्याओं का समाधान करना होता है।
  • इसके अलावा सरकार द्वारा लागू की गई योजनाएं की जानकारी भी जनता तक पहुंचाने का कार्य भी एमएलए द्वारा ही किया जाता है।
  •  कानून की योजना बनाना और उनके बारे में विस्तार से पढ़ना उन पर चर्चा करना और कानूनों के अधिनियम का सपोर्ट करना यह सारे कार्य एक एमएलए के होते हैं।
  • विधायक कैबिनेट मंत्री, मंत्री या विपक्षी आलोचक को निश्चित करने का काम करता है।
  • इसके अलावा विधायक को सदन में प्रश्न पूछना और उत्तर देने का कार्य भी करना होता है।
  • विधायक उर्फ एमएलए को अपने क्षेत्र में कार्यालय खोलने का अधिकार भी प्राप्त होता है।
  • Vidhayak निधि द्वारा अपने क्षेत्र का विकास करता है।

Eligibility Of MLA

  • एमएलए बनने के लिए सबसे पहले आपको भारत का नागरिक होना बहुत जरूरी है।
  • विधायक बनने के लिए किसी भी व्यक्ति की आयु लगभग 25 वर्ष होनी अनिवार्य है।
  • लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम 1951 के तहत, उम्मीदवार का नाम उस राज्य में किसी भी निर्वाचन क्षेत्र की मतदाता सूची में होना आवश्यक है, जहाँ के लिए वह विधायक बनेगा।
  • एमएलए बनने वाले व्यक्ति के पास सरकारी नौकरी नहीं होनी चाहिए।
  • इस पद की प्राप्ति के लिए उस व्यक्ति का मानसिक रूप से स्वस्थ होना आवश्यक है।
  • लोकप्रतिनिधित्व अधिनियम, 1951 के तहत यदि कोई भी विधायक दोषी पाया जाता है या अदालत द्वारा दोषी ठहराया जाता है, तो उसे उस पद से हटाया भी जा सकता है।

एमएलए बनने हेतु चुनाव प्रक्रिया

  • वर्तमान विधानसभा के कार्यकाल का समय पूरा हो जाने के बाद 5 वर्ष के समय में विधायक के चुनाव होते हैं।
  • सभी राज्यों की जनसंख्या के आधार पर अलग-अलग चुनावी क्षेत्रों में विभाजित किया गया है।
  • इलेक्शन लड़ने वाले उम्मीदवार को 18 वर्ष से अधिक आयु के लोगों द्वारा वोट दिया जाता है।
  • चुनावी क्षेत्र से कई सारे उम्मीदवार एमएलए के चुनाव के लिए खड़े हो सकते हैं पर उसके लिए शिक्षक योग्यता का पूरा होना बहुत आवश्यक है।
  • उम्मीदवार किसी विशेष पार्टी से इस पद के लिए लड़ सकता है इसके अलावा में स्वतंत्र रूप में भी इलेक्शन लड़ सकते हैं।
  • एमएलए का चुनाव पूर्ण रूप से वोटर्स द्वारा किया जाता है जिसमें मतदाता सार्वभौमिक वयस्क मताधिकार के अनुसार वोट देते हैं।
  • राज्य के राज्यपाल के पास एंग्लो-भारतीय समुदाय के सदस्य को नामांकित करने की कार्यकारी शक्ति होती है, यदि विधानसभा में उस व्यक्ति के पर्याप्त प्रतिनिधित्व की कमी हो।

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